Sunday, January 19, 2025

न्यू डिस्क्रिप्शन

यह कहानी दो परिवारों के बाप दादाओं की है। एक परिवार दूसरे की दूसरे परिवार की जमीन हड़प लेता है। पूरे गांव में जलील करता है। कुछ समय बाद अंजली नाम की लड़की, विराट नाम के लड़के से मोहब्बत कर बैठती हैं। यह बात जब अंजलि के माता पिता को चलती है। अंजलि को अपने साथ रातों रात दूसरे शहर ले जाते है। जब विराट को पता चलता है तो अपने दिल के कानों से अंजलि के शहर पहुंच जाता हैं। क्या विराट अंजलि को उस शहर मै ढूंढ पाएगा। या नहीं या हमेशा के लिए अंजलि को बुल जाएगा। जानने के लिए पढ़िए "Amazing Lover's" सिर्फ "Pocket Novel" पर




Saturday, January 18, 2025

पॉकेट नोवेल के बारे मै जाने।


                         पॉकेट नोवेल क्या use है 

पॉकेट नोवेल एक अपने आप मैं बहुत बड़ा प्लेटफार्म। इसमें इंसान कहानी। या को घटना मतलब आप इसमें सब कुछ शेयर कर सकते हो। जो आपको आता हो। 


                       पॉकेट नोवेल से कमाई

पॉकेट नोवेल से आप अच्छी खासी इनकम कर सकते हो। जिसमें आपको मिनिमम 30000 वर्ड करने होंगे। जिसके बाद आपका पॉकेट नोवेल अप्रूव होगा। कॉन्ट्रैक्ट साइन भी करना पड़ता है अग्रीमेंट पर

आप के कॉन्ट्रैक्ट में कोई भी एडल्ट शब्द नहीं होने चाहिए। ना हे किसी को ठेस पहुंचनि चाहिए। तब  ही आपका नोवेल अप्रूव होगा। अगर कुछ गलत लिखा। तो पॉकेट नोवेल टीम आपका नोवेल रिजेक्ट कर देगी। 

डेली आपको चैप्टर पब्लिश करने होंगे। कम से कम 2000 शब्द। जिससे आपकी अच्छी इनकम होगी। डेली चैप्टर अपलोड नहीं करोगे तो इनकम मैं कमी आएगी। 


                      पॉकेट नोवेल डिस्क्रप्शन 

 कहानी दो पुराने बाप दादाओं की है। जिसमें आज भी दो परिवारों के बीच पुराना झगड़ा हैं। जिसमें अंजलि नाम की लड़की । विराट से प्यार कर बैठती है। जब यह बात अंजलि की पिता को चलती है।तो अपनी बेटी अंजलि को दूसरे शहर अपने साथ ले जाते हैं। विराट के बाप दादाओं ने अंजलि के बाप दादाओं की गांव जमीन हड़प ली थी। ओर पूरे गांव मै जलील किया। क्या विराट अंजलि को दूसरे शहर जाकर ढूंढ पाएगा। या अपने प्यार को भूल जाएगा। यह जानने के लिए पढ़िए"Amazing Lover's" सिर्फ "Pocket Novel"पर

पार्ट ,1 से पार्ट 4

Amazing Lover's |अमेजिंग लवर्स| https://pocketnovel.onelink.me/tSZo?is_retargeting=true&deep_link_value=pocketnovel%3A%2F%2Fopen%3Fentity_type%3Dbook%26entity_id%3D89733c45405ae792ca91e71ce56e35d1a1f2c6c7&af_dp=pocketnovel%3A%2F%2Fopen%3Fentity_type%3Dbook%26entity_id%3D89733c45405ae792ca91e71ce56e35d1a1f2c6c7

पॉकेट नोवेल डिस्क्रप्शन कैसे लिखे।

 यह अद्भूत कहानी दो बॉयफ्रेंड और दो गर्लफ्रेंड की है। इस कहानी मै एक मूवी सिनेमा हॉल में चलेगी। जो दो परिवारों के बाप दादाओं की लड़ाई थी। इनकी आने वाली नस्ल एक दूसरे से प्यार करके इस लड़ाई को नष्ट कर देंगे। जिसका फिल्म इंडस्ट्री मै कोई जवाब नहीं है सुरभि नाम की लड़की। विक्रम को दिल बैठती है। सना नाम की लड़की मुंबई मै आमिर को। शुरु से इनके प्यार का सफर अच्छा चलता है। कुछ समय बाद इनकी जिंदगी मै एक ऐसा मोड़ आता है। उसमें विक्रम अपनी जिंदगी से हाथ धो बैठता हैं। विक्रम की रूह फिर भी सुरभि से प्यार करती रहती हैं। लेकिन सुरभि अपनी हवस को बुझाने के लिए। आमिर की और आकर्षित होने लगती है। जब यह बात विक्रम की रूह को पता लगती है तो। आमिर और सुरभि की दुश्मन बन जाती हैं। और दोनों को तंग करने लग जाती हैं। कैसे बचा पाएंगे। अपने आप को विक्रम की रूह से। जानने के लिए पढिए "Amazing Lover's" सिर्फ "Pocket Novel"पर

Amazing Lover's |अमेजिंग लवर्स|Author- Mohd Asif: https://pocketnovel.onelink.me/tSZo?is_retargeting=true&deep_link_value=pocketnovel%3A%2F%2Fopen%3Fentity_type%3Dbook%26entity_id%3D89733c45405ae792ca91e71ce56e35d1a1f2c6c7&af_dp=pocketnovel%3A%2F%2Fopen%3Fentity_type%3Dbook%26entity_id%3D89733c45405ae792ca91e71ce56e35d1a1f2c6c7

Thursday, January 16, 2025

एक तरफा प्यार

 यह घटना एक गांव की। जिसका नाम विराट था। उसे प्रियंका नाम की लड़की दिल आ जाता हैं। लेकिन यह बात प्रियंका को नहीं पता थी। विराट नाम का लड़का मुझसे प्यार करता है।

प्रियंक एक कॉलेज मै जाती थी। कॉलेज प्रियंका के घर से 2किलोमीटर दूर थी। जब प्रियंका बस से कॉलेज जाती तो। विराट सुबह बस स्टैंड पर आकर बैठ जाता। प्रियंका वापस कॉलेज से घर आती तो। विराट फिर बस स्टैंड पर आ जाता

जब प्रियंका बस से उतरती तो विराट उसके पीछे पीछे चलता।यह सिलसिला कई दिनों तक चलता रहा। 

एक दिन प्रियंका को शक हुआ। यह लड़का रोज मेरे पीछे पीछे चलता है। आखि़र यह मुझसे चाहता क्या। क्यों रोज रोज मेरे पीछे चलता है।

विराट प्रियंका के प्यार मै पागल होता जा रहा था। उसे प्रियंका के अलावा कुछ नहीं दिखता था। विराट के अंदर इतनी हिम्मत नहीं थी कि वो अपने प्यार का इजहार प्रियंका से कर सके। बहुत दयालु ईमानदार इंसान था। डरपोक भी बहुत था। लेकिन प्रियंका के रंग रूप ने विराट को घायल कर दिया।

प्रियंका बहुत सुन्दर लड़की थी। बहुत अच्छे स्वभाव की थी। चेहरे का रंग गोरा। दूध जैसा था। हॉट बिलकुल गुलाब के फूल की तरह थे। गाल पर एक छोटा सा तिल था। हंसती तो काफी अच्छी लगती थी। 

एक दिन प्रियंका ने विराट से कह दिया। मेरा पीछा क्यों करते हो। आप। विराट ने कुछ नहीं बोला। आपको क्या तकलीफ रोज मेरे पीछे पीछे आते हो। कितने महीनों से परेशान कर रखे हो। बेचारा विराट अपनी गर्दन नीचे करके सुनता रहा। प्रियंका ने कहा मुंह मै जबान नहीं है क्या। गूंगे हो क्या। आखिर चाहते क्या हो। आज में सभी बाते अपने घर वालो को बताऊंगी। इतना कहकर प्रियंका वहां से चल पड़ी। 

विराट एकदम से घबरा गया। ओर अपना गांव छोड़कर भाग गया। लेकिन प्रियंका अपने घर वालों को विराट की बात नहीं बताई।

क्योंकि प्रियंका बहुत अच्छी लड़की थी। वो दूसरो की इज्जत का ख्याल करती थीं। 

रात को प्रियंका को सोते सोते बिस्तर पर विराट  की बात याद आ गई। ओर सोचने लगी मैने उस लड़के को कितना डांटा। बेचारा कुछ भी नहीं बुला। बस नीचे गर्दन करके सुनता ही जा रहा था मैने कुछ ज्यादा ही बोल दिया था  गुस्से गुस्से मै। अब प्रियंका के दिल मै उस लड़के की मुहब्बत जगने लगी।  यह सोचते सोचते प्रियंका की आंख लग गई। और सो गई।

प्रियंका  सुबह उठी। नहा धोकर तैयार हो गई। प्रियंका ने सोचा वो लड़का जरूर मुझे बस स्टैंड पर मिलेगा। प्रियंका बस स्टैंड पहुंची तो वो लड़का प्रियंका को नहीं दिखा। प्रियंका सोचने लगी शायद डर गया होगा। की कल अपने घर वालों को साथ लेकर आएगी। प्रियंका मन ही मन उस लड़के के लिए मुस्कुराने लगी। बस आ गई । प्रियंका उसमें बैठ कर चली गई।

प्रियंका की कॉलेज की छुट्टी हुई तो। प्रियंका सोचने अब वो लड़का जरूर मिलेगा। जैसे प्रियंका बस से उतरी वो लड़का दिखाई नहीं दिया। अब प्रियंका के दिल बेचनी सी होने लगी। 

प्रियंका ने इगनोर कर दिया। रात को बिस्तर पर सोचने। लगी । वो लड़का रोज मेरे पीछे पीछे चलता था। इतनी जल्दी मेरा पीछा क्यों छोड़ दिया। प्रियंका सोचते सोचते सो जाती हैं।

कॉलेज के लिए तैयार हो जाती। बस  स्टैंड पहुंचती है वो लड़का दिखाई नहीं देता है। वापस कॉलेज से आती है। लड़का दिखाई नहीं देता है 

ऐसा रोज चलता रहा। प्रियंका कॉलेज जाती आती तो वो लड़का दिखाई नहीं देता था। प्रियंका अंदर से बेचैन हो गई। क्योंकि प्रियंका को भी आदत पड़ गई थी। उस लड़के की। 

प्रियंका अब उस लड़के के लिए। परेशान होने लगी। अब करे तो क्या करे। प्रियंका सोचने लगी। एक बार वो लड़का मिल जाए तो उससे मिल लू। प्रियंका की मोहब्बत उस लड़के के लिए बढ़ने लगी। 

प्रियंका ने उस लड़के को ढूंढने की कोशिश की। लड़का कही नहीं मिला। क्योंकि विराट गांव छोड़कर भाग गया था। अपने घर परिवार की इज्जत बचाने के लिए। विराट बहुत याद कर रहा था। प्रियंका को।

 लेकिन यह बात विराट को पता नहीं थी। प्रियंका उसे पूरे गांव मै ढूंढने निकली थी। अपने बेचैन दिल को को करार देने के लिए।

जब प्रियंका को वो लड़का नहीं मिला तो प्रियंका अंदर से तड़प गई। ओर सोचने लगी। कहा चला गया होगा। प्रियंका रात दिन उस लड़के के बारे मै सोचती रहती थी। शायद मैने उस दिन बहुत बड़ी गलती कर दी थी।

उस लड़के से प्यार से भी बात कर सकती थी। 

       उधर विराट प्रियंका के लिए तड़प रहा था। इधर प्रियंका विराट के लिए तड़प रही थी।ए

क तरफ प्रियंका प्यार के लिए  _  एक तरफ विराट प्यार के लिए 

         हेलो दोस्त हमें इस बात से क्या शिक्षा मिलती है। कमेंट मै जरूर बताइए ।






Monday, January 13, 2025

पागल को दोस्त की जरूरत

 एक समय की बात है एक मोहल्ले में एक पागल रहता था। उसे अच्छे दोस्त की जरूरत थी पागल की उम्र 18 साल की थी। लेकिन पागल एक दम साफ सुथरा रहता था । पागल को लगा मे अकेला रहता हूं कोई दोस्त हि बना लु यह सोचकर पागल दोस्त ढुंढने के लिए निकल पड़ा तो मोहल्ले में छोटे छोटे बच्चे खेल रहे थे। पागल ने बच्चों को बोला मुझसे दोस्ती करोगे। बच्चे पागल को देखकर डर गये और वहां से भाग गए ।


यह देखकर पागल बहुत उदास हुआ। पागल आगे चला तो पीछे से बच्चों ने पत्थर फेंकेना शुरू कर दिया । पागल न उन्हें बहुत समझाया में आपसे दोस्ती करना चाहता हूं लेकिन बच्चों को क्या पता दोस्ती के बारे में यह बात पागल को पता नहीं था वो हर किसी से दोस्ती करने के लिए निकल पड़ा पागल के पैर पर पत्थर कि लगी तो खुन निकल आया।


यह देखकर पागल रोने लग गया काफी अन्दर से दुखी होआ सामने से बुढा आदमी आ रहा था। उसने बच्चों को डांटते हुए भगा दिय। पागल के पैर में खुन देखकर बुढे आदमी ने अपने रुमाल को फाड़कर पट्टी बांध दी पागल को थोड़ा बहुत आराम मिला और खुश हुआ।

पागल ने सोचा इस बुढे ने मेरी मदद की शायद ये मुझसे दोस्ती कर लेगा। पागल ने बुढे आदमी से बोला आप मेरे दोस्त बन जाओ बुढे आदमी ने पागल समझकर बात को इग्नोर कर दिया। और बुढा आदमी वहां से चल पड़ा लेकिन बुढे आदमी को क्या पता यह दोस्त बनाने के लिए घर से बाहर निकला है । पागल थोडा और मायुस हुआ।

पागल ने हिम्मत नहीं हारी पागल चल पड़ा एक स्टेडियम के पास जाकर खड़ा हो गया। वहां कुछ लड़के किक्रेट खेल रह थे पागल ने सोचा ये लड़के मेरे नाप के है शायद मुझसे दोस्ती कर ले।

पागल ने एक प्लानिंग बनाई शायद इसे युज करो यह सोचकर पागल स्टेडियम में घुस गया। सीधा पिच पर जाकर खड़ा हो गया। और कहा तुम मे से धोनी कौन है यह सुनकर सभी खिलाड़ी हंसने लगे खिलाड़ीयों ने सोचा पागल है कुछ भी बोल देता है फिर पागल ने कहा तुम मे से धोनी कोन है तो खिलाड़ीयों ने कहा कोई भी नहीं है पागल ने कहा मैं हूं धोनी क्या मुझसे दोस्ती करोगे फिर खिलाड़ी पागल पर हंसने लगे।

पागल ने सोचा यहां तो अपनी प्लानिंग काम नहीं आयी।स्टेडियम गार्ड ने पागल को स्टेडियम से बाहर निकाल दिया पागल को बहुत दुख हुआ।

लेकिन पागल हार नहीं माना और आगे चलते गया चलते चलते एक गांव में घुस गया। जहां पर एक बहुत बड़ी पुरानी हवेली दिखी जिसमें सेठ लोग रहते थे। पागल को भुख प्यास लगने लगी पागल ने सोचा सेठ लोग खाना तो दे देंगे। 

पागल ने हिम्मत बढ़ाई ओर हवेली की तरफ रुख कर लिया। और हवेली के पास जाकर खड़ा हो गया। सिपाही ने पूछा कौन हौ पागल ने कहा खाने की भुख लग रही हैं कुछ खाना चाहिए ये बात सुनकर सिपाही ने कहा तुम थोड़ी देर डटो में अभी आता हूं ।

 सिपाही सीधा सेठ के पास गया और कहा सेठजी बाहर एक पागल आया हूआ है । सेठजी बोले क्या बोल रहा है। सिपाही बोला सेठजी खाना मांग रहा है और मुझे तो उसके चेहरे से पता लग रहा है वो तीन चार घंटे का भूखा है।सेठजी ने कहा उसको अन्दर लेके आओ सिपाही पागल को अन्दर लेकर आया तो पागल ने सेठजी की तरह हाथ जोड़े यह देखकर सेठजी के अन्दर से एक दर्द भरी आह निकली।

सेठजी ने पागल के लिए सबसे पहले पीने का पानी मंगवाया उसके बाद उसके हाथ धुलाये सेठजी ने पागल के लिए स्पेशल खाना बनवाया । थोड़ी देर बाद खाना बनकर आ गया पागल भूख के मारे खाना जल्दी जल्दी खा रहा था सेठजी समझ गया कि कई देर का भूखा है पागल ने खाना खाकर अपने हाथ और मुंह धो लिया। 

सेठजी अपने सिपाही को अपने पास बुलाया और कहा इसके लिए खाना पैक करवा दो कुछ ये रुपये दे दो पागल को खाना पैसा दिया गया तो मना कर दिया और कहा मुझे यह नहीं चाहिए अब क्योंकि पागल को तो दोस्त चाहिए था। 

सेठजी ने कहा अब क्या चाहिए तुझे पागल ने कहा आप मेरे दोस्त हो जाइए ये सुनकर हवेली में सन्नाटा सा छा गया सेठ तो सेठ ही होता उसका रूतबा इज्जत बड़ो बड़ों की बोलियां बंद हो जाती है सेठजी के सामने।

सेठजी ने चतुराई दिखाते हुए अपने कमरे में चले गए। उसके बाद सेठजी ने सिपाही को बुलाया और कहा पागल से कह दे सेठजी कि तबियत खराब हो गई है यह कर उसको बाहर निकाल दे सिपाही ने सेठजी की बात को मान कर पागल को बाहर निकाल दिया गया ।

सेठजी को पता है पागल की हाय हमें बर्बाद कर देगी।लेकिन पागल वहां भी उदास हुआ। पागल आसमान की तरफ़ अपना चेहरा किया और रोने लग गया रो रो कर पागल ने ईश्वर से कहने लगा मालिक तुने मुझे पैदा क्यों किया जब तु मेरा दोस्त नहीं बना सकता तो लोग मुझ पर हंसते हैं पत्थर मारते हैं घर से बाहर निकाल देते पागल रोता रोता पहाड़ों के पास चला जाता है और वहां रुक जाता है।

पागल को पहाड़ में एक गुफा दिखती है। गुफा में जाकर उसमें बैठ कर रोने लग जाता है बार बार पागल ईश्वर को यही कहता है तुने मुझे इस मतलबी दुनिया में पैदा क्यों किया लोग मुझे पर हंसते हैं मारते हैं पागल के मुंह से बार बार यही बात निकलती है।

पागल कि आवाज सुनकर ईश्वर को दुनिया के लोगो पर क्रोध आ गया। ईश्वर ने एक नेक इंसान से कहा एक गांव में जाओ और उनको जाकर कहो कि अब एक भयंकर तूफान आने वाला है उसमें पुरी दुनिया नष्ट होने वाली है अगर तुम इस तुफान से बचना चाहते हो तो तुम्हे सिर्फ वो पागल ही बचा सकता है जो तुम्हारे गांव का है।

नेक इंसान सेकंडो में उस गांव में पहुंच गया। ईश्वर ने जो बात बताई नेक इंसान ने पुरी कि पुरी बात गांव वालों को बता दी अब गांव में अफरा तफरी का माहौल हो गया सब डरने लग गये लोगों ने खाना पकाना सब कुछ छोड़ दिया मौत से डरने लग गए।

 पागल का कोई अता पता नहीं था। सब परेशान हो गए गांव में एक बहादुर आदमी निकल कर आया उसने राय दी हमारे गांव के पास एक गांव है जहां पर एक हवेली है उस हवेली में सेठजी रहते हैं।

पुरा गांव सेठजी कि हवेली में पहुंच गया सेठजी को पूरी बात बताई सेठजी समझ गया पागल की आह ने हमें आज य दिन दिखा दिया।

सेठजी ने अपने कमरे में उस सिपाही को बुलाया जिसने पागल को हवेली से बाहर निकाल था । सिपाही से पुछा पागल किस तरफ गया था सिपाही ने बता दिया सामने वाले रास्ते से गया था।

गांव वाले सेठजी का इंतजार कर रहे थे। सेठजी कमरे से जल्दी आ जाये और हमे इस भयंकर तूफान से बचा दे। सेठजी बाहर आये गांव वालों को तसल्ली दी और कहा हम पागल को एक घंटे में ढुंढ लेंगे।

सेठजी ने सभी सिपाही को पागल को ढूंढने के लिए भेज दिया। काफी देर तक ढूंढा पागल को लेकिन पागल का कोई अता पता नहीं था। सिपाही हवेली में आ गए और कहा सेठजी हमने सभी जगह पागल को ढूंढा कही नहीं मिला।

यह बात सुनकर गांव वालों के दिल में घबराहट होने लग गई सब अपने बच्चों कि तरफ देख देख कर रो रहे थे सेठ जी ने फिर से गांव वालों को दिलासा दिया कि हम जल्दी ही पागल को ढूंढ निकाल लेंगे सेठजी के बोलने पर गांव वालों का मन हल्का होता था हिम्मत भी आती थी।

सेठजी ने उस सिपाही को बुलाया जिसने पागल को बाहर निकाला था लेकिन वो सिपाही हवेली पर अभी तक आया हीं नहीं था सेठजी समझ गये वो जरूर उसका पता करके आएगा सिपाही उस रास्ते से गया जिस रास्ते से पागल गया था।

सिपाही पहाड़ो की ओर बढ़ा और वहां पर ही ढुढने लगा।सिपाही को काफी टाइम हो गया था पागल को ढूंढते ढूंढते सिपाही एकदम सा थक गया था सिपाही ने भी हिम्मत तोड़ दी थी।

सिपाही हवेली की और जाने लगा कुछ कदम के बाद पहाड़ों कि गुफा में स रोने की आवाज सुनाई दी अब सिपाही समझ गया कि पागल गुफा में है सिपाही गुफा कि और धीरे धीरे बढा और पागल को गुफा में देखकर सिपाही वहां से चुपचाप निकल आया हवेली में।

सेठजी सिपाही को देखकर खड़े हो गए फटाफट सिपाही की और चल पड़े। सेठजी सिपाही से पूछा क्या पागल का पता चला सिपाही ने हां किया।

सेठजी ने सिपाही से कहा पागल कहा है सिपाही ने कहा पहाड़ों कि गुफा में बेठकर रो रहा है। गांव वाले सिपाही की बात सुनकर पहाड़ कि गुफा की और दौड़ पड़े गांव वालों ने पागल को गुफा से बाहर निकाला और हाथ जोड़कर पागल से माफी मांगना शुरू कर दिया और पागल से कहने लग गए हमे बचा लो भयंकर तूफान से पुरा गांव पागल को देख देख कर रो था।

 पागल को रहम आ गया । पागल ने कहा कौन कौन है मेरा दोस्त सबने कहा हम आपके दोस्त हैं पागल ख़ुश हो गया ओर सभी को मांफ कर दिया पुरे गांव को भयंकर तूफान से बचा लिया और पुरा गांव पागल का दोस्त हो गया।

दोस्तों इस काहनी से हमें क्या सीख लेनी चाहिए comment में अपनी राय जरूर रखिए 

 THANK you dosoto

Sunday, January 12, 2025

लालची लड़के की बुरी आदत


 यह एक गांव कि बात है। एक लालची लड़का शहर से आकर गांव रहने लग गया। कुछ दिन तो उसने गांव के मोहल्ले और लोगों पढ़ा कैसे स्वभाव के है। सभी गांव वालों से मिला मिलने के बाद उसने कहा मैं एक टीचर हु साथ में एक गायकार भी हु लालची लड़के को पता था। इस गांव में ना तो स्कूल है ना ही गायकार है क्योंकि लालची लड़के ने गांव को चारों तरफ़से घूम घूम कर देख लिया था ।

गांव के लोगों ने सोचा क्यों ना हम अपने बच्चों को स्कूल का ट्यूशन इस टिचर से करवा दे। सभी गांव वाले टीचर के पास गये। और कहा आप हमारे बच्चों को पढ़ा सकते हो क्या लालची लड़के ने कहा कयो नही हम आपके बच्चों को जरूर पढ़ायेंगे।

गांव वाले खुश हो गए । लालची लड़के से पुछा आप महीने के कितने पैसे लेते हो ट्यूशन करवाने का लालची लड़के ने कहा यही कोई बीस से तीस हजार रुपये के बीच में लेते हैं। 

गांव वालों को पता नहीं था। उन्होंने हां कर दी। दें देंगे ।लालची लड़के ने कहा पहले आप मुझे सभी बच्चों का एक एक महिने का पैसा जमा करवा दे।जिससे मुझे ध्यान रहे कितने बच्चे ट्यूशन पर आयेंगे । उस हिसाब से व्यवस्था रखी जाये गांव वालों ने दुसरे दिन अपने अपने बच्चों का पैसा जमा करवा दिया।

उसके बाद लालची लड़के ने बच्चों को पढ़ाना शुरू कियाl तो लालची लड़का सोचने लगा बच्चों को क्या पढाओ मुझे कुछ आता नहीं है मैंने तो इस गांव की कमजोरी का फायदा उठाना था क्योंकि इस गांव में स्कूल नहीं था लालची लड़के ने दस बारह दिन तो बच्चों को साफ सफाई के बारे में बताया। खाना खाने से पहले हाथ धोना चाहिए अच्छे साफ़ सुथरे कपड़े पहनने चाहिए बड़ो की इज्जत करनी चाहिए माता पिता कि मदद करना चाहिए बुढ़ो को सराहा देना चाहिए।

कुछ दिन बाद बच्चों का रहन सहन गांव वालों को अलग सा दिखने लगा तो गांव वाले उस टीचर से काफी खुश हुए।गांव में उस लालची लड़के कि तारीफ होने लग गई । यह बात उस लालची लड़के के कानों तक पहुंच गई अब लालची लड़के ने सोचा मछली जाल में फंसने लग गई। 

 कुछ दिन बाद उस लालची लड़के की गांव में दवात होने लग गई। लालची लड़के ने सोचा क्यों ना अब इन गांव वालों का और ज्यादा फायदा उठाया जाए। यह सोचकर लालची लड़का वहां से चलकर अपने रूम पर आ गया।

अब लालची लड़का गांव वालों को लुटने की प्लानिंग बनाने में लग गया।

कुछ दिन बाद लालची लड़के ने बच्चों को कहा अपने घर जाकर अपने माता पिता से कहना है कि टीचर ने हमें ड्रेस के लिए बोला है। और अपने माता पिता से यह भी कह देना आप वहां जाकर ड्रेस के बारे में पूछ लेना। कितने रुपए की आती है।

दूसरे दिन गांव वाले लालची लड़के के पास पहुंच गए।और कहा आपने बच्चों को ड्रेस के बारे मे कहा है क्या लालची लड़के ने जवाब दिया हां जी मैने बच्चों को ड्रेस के बारे मे कहा था।

गांव वालों ने लालची लड़के से कहा। क्या आप ड्रेस रखते हो लालची लड़के ने जवाब दिया हां गांव वालों ने कहा कितने पैसे की आती है ड्रेस। लालची लड़के ने कहा एक लड़के की 5 हजार रुपये के लगभग। गांव वालों ने हां कर दी। लालची लड़का मन ही मन में सोचने लगा कितने बेवकूफ लोग है इस जमाने में इनको यही पता नहीं ड्रेस कितने रुपए की आती है। लालची लड़के ने मन ही मन कहा हमें क्या मतलब हमारा तो मकसद इनको लूटना है। हमें क्या मतलब है दुनिया से पैसा आना चाहिए।

कुछ दिन बाद लालची लड़का सोचने लगा कि मैं अब इन बच्चों को क्या पढ़ाओ मुझे तो कुछ आता भी नहीं है। लेकिन लालची लड़के के अचानक से दिमाग में एक बात आई क्यों ना इन बच्चों को यूट्यूब से कुछ सीखा दु।

लालची लड़का बाजार से दीवार स्क्रीन टीवी खरीद कर लाया और बच्चों को उसी से पढ़ा देता था। बच्चे धीरे धीरे सीखते गए। बच्चे मोहल्ले में आपस मे इंग्लिश में कुछ शब्द बोलते थे। गांव वाले यह देखकर ओर ज्यादा उस लालची लड़के से खुश हुए।

लेकिन लालची लड़के को इस बात की फिक्र हो रही थी । अगर में इन बच्चों को लिखना नही सिखाऊंगा तो मैं गांव वालों को क्या जवाब दूंगा। अब रात दिन लालची लड़का यही सोचता रहा। 

लालची लड़के ने सोचा क्यों ना मै एक पढ़े लिखे टीचर को मै अपने शहर से बोला लो । लालची लड़के ने यही निति अपनाई। कुछ समय के बाद उसने अपने शहर से एक टीचर को बोला लिया। और बच्चों को पढ़ाना लिखाना शुरू कर दिया।

अब लालची लड़के की परेशानी कम हो गई। अब उसने फिर से गांव वालों को लुटने की प्लानिंग की।

लालची लड़का बच्चों से कहा कल तुम सभी अपने माता पिता को साथ में लेके आना।

सभी बच्चे अगले दिन अपने माता पिता के साथ पहुंच गए। लालची लड़के ने कहा कल बच्चों का खेल कूद का प्रोग्राम रख गया हैै। कल जो बच्चा ज्यादा मेहनत करके जीतेगा उसे इनाम दिया जाएगा। उसके लिए हमें आपके सहारे की जरूरत पड़ेगी। लालची लड़के की बात से गांव वाले समझ गए कि टीचर को इनाम के लिए पैसों की जरूरत है।

सभी गांव वालों ने कहा हम आपकी बात को समझ चुके हैं हम आपकी मदद जरूर करेंगे। यह बात सुनते ही लालची लड़के ने अंदर से रजिस्टर मंगवाया उस टीचर से जिसको शहर से बुलाया था। लालची लड़के ने उस टीचर से कहा आप इनके नंबर से पैसा लिख दो जितने यह लिखवाये ।

गांव वालों में होड़ सी लग गई किसी ने पांच हजार किसी ने दस हजार। ऐसे करते करते लालची लड़के के पास एक लाख रुपये हो गए। 

दूसरे दिन खेल कूद का प्रोग्राम हुआ तो लालची लड़के ने मुश्किल से बीस हजार रुपये खर्च किए। और बाकी का पैसा अपने पास रख लिया।

जब गांव वालों ने हिसाब मांगा तो लालची लड़के ने मना कर दिया। सभी गांव वालों को गुस्सा आया और वहां से चले आए।

 गांव वालों के लालची लड़के की बात समझ में आने लग गई कि हमें यह टीचर लुट रहा है । 

कुछ दिन बाद लालची लड़के ने गांव वालों को फिर से लुटने की प्लानिंग की ।

लालची लड़का गांव में गया और कहा मेरे पिताजी बीमार हो गए हैं मुझे कुछ पैसों की जरूरत है प्लीज मेरी मदद करो। गांव वाले बहुत साफ दिल के लोग थे। फिर से लालची लड़के की बातों में फस गए। ओर उसको पैसे दे दिए।

एक समझदार व्यक्ति ने गांव वालों से कहा ये टीचर हमसे बहुत पैसा लेता हैं इसका पता तो करो। सभी गांव वालों ने उस व्यक्ति की बात मानकर उस लालची लड़के की निगरानी में लग गए।

रात को सभी गांव वालों ने एक मीटिंग रखी उसमें कहा गया कि हम कल उस टीचर के पास जाएंगे । उससे पूछेंगे कि आप कहा रहते हो आपका शहर का क्या नाम हैं। आप का घर कहा है। यह सब पूछने के बाद हम उसके घर तक जाएंगे। ओर पता करेंगे कि इसका पिताजी बीमार है या हमें बेवकूफ बनाकर लूट रहा है।

दूसरे दिन सभी गांव वाले लालची लड़के के पास पहुंच गए। और पूरा एड्रेस पता ले लिया । 

अगले दिन गांव वाले उसके शहर में पहुंच गए । किसी व्यक्ति से पूछा कि फला फला नाम का लड़का है जोर एक टीचर है। उसका घर कहा पर है। उसके पिताजी बीमार है।

वो व्यक्ति समझ गया कि इसने गांव वालों को भी लुट लिया होगा। उस व्यक्ति ने लालची लड़के के बारे में सब कुछ बता दिया उसके कोई पिताजी नहीं है ना ही माता है। उनको मरे होवे काफी दिन हो गए है।ओर वो खुद भी टीचर नहीं है। वो एकदम लालची लड़का है।

गांव वालों को गुस्सा आया और वहां से चले आए गांव की तरफ़। गांव वालों ने कहा अब हमें इनसे हमारे सारे पैसे निकलवाने है 

लालची लड़का अपने पैसे अपनी एक छोटी सी आलमारी में रखता था। ताकि उसके पैसे चोरी न हो। 

गांव वालों ने प्लानिंग बनाई।

 हम गांव वाले एक प्रोग्राम रखेंगे। क्योंकि वो टीचर गायकार भी है उसने हमसे कहा था कि मै गायकार भी हु। उसको हम बोलेंगे हमारे गांव मे पुरी रात संगीत का प्रोग्राम चलेगा। उस प्रोग्राम में गायकार आप होंगे। उसके बाद हम उसके कमरे पर चार पांच आदमी को भेज देंगे उसके सारे पैसे हम निकाल लेंगे। क्योंकि उसने हमें खूब लुटा है।

अगले दिन गांव वाले लालची लड़के के पास गए और जो बात गांव वालों ने पहले की थी। वो लालची लड़के को बता दी। लालची लड़के ने हां कर दी। गांव वाले जाने लगे तो लालची लड़के ने कहा मेरी फीस बहुत महंगी है।

गांव वालों ने कहा कोई बात नहीं वैसे आपकी फीस कितनी है। लालची लड़के ने कहा पूरी रात के तीन लाख रुपये। गांव वालों ने हां कर दी।

लालची लड़के ने सोचा आज तो कोई प्लानिंग नहीं बनानी पड़ी आज तो काम अपने आप हो गया।

लालची लड़के को क्या पता अब तुम्हारी उलटी गिनती शुरू होने वाली हैं।

गांव वालों ने स्टेज सजा दिया। और साउंड भी लगा दिया। गांव वाले गायकार इंतजार कर रहे थे। कुछ देर बाद गायकार पहुंच गया। उसने अपना काम शुरू किया।

उधर गांव वाले लालची लड़के के कमरे में पहुंच गए। उन्होंने ने भी अपना काम शुरू कर दिया।

लालची लड़के का पूरा सामान कमरे से साफ कर दिया। कुछ भी नहीं छोड़ा कमरे में।

लालची लड़का सुबह जब कमरे में पहुंचा तो पूरा कमरा साफ मिला। लालची लड़का गांव की तरफ दौड़ा।

गांव वालों से कहा मेरे कमरे में चोरी हो गई है।

गांव वालों ने कहा ये तो एक दिन होना ही था। लुटा हुआ पैसा तो लुटा ही जाएगा। 

लालची लड़का गांव वालों की बात समझ गया। ओर अपने कमरे में आकर बहुत रोया। अपनी आदतों के ऊपर 

थैंक यू दोस्तो

Saturday, January 11, 2025

अधुरी खुशी

1) एक गांव में एक रीया नाम की लड़की थी। और वो पढ़ाई में बहुत होशियार थी। लेकिन गरीबी ने रिया को अच्छी तरह से दबा रखी थी। उसके पिताजी मजदूरी करते थे। लेकिन रीया की मा मौत जैसी बीमारी ने जुझ रही थी।रिया पढ़ाई में होशियार थी। रिया को अपनी मां के दवा के लिए पैसो की ज़रूरत थी।रिया ने छोटी मोटी नौकरी करने कि सौची और घर से निकल पडी और नौकरी की तालाशमें पुरी कोशिश कर रही थी।


 जिससे वह अपने घर के खर्च उठा सकै रीया को कोलेज में नौकरी मिल गई और रीया बहुत खुश हुई रिया के माता पिता भी बहुत खुश हूए घर में खुशियो की लहर दौड़ उठी मायुस चेहरे पर हल्की सी मुस्कान खिल उठी लेकिन रीया को क्या पता उसके साथ कल क्या होने वाला है। रिया कोलेज से पढ़ा कर घर लौट रही थी।रिया रोड़ पार कर रही थी। अचानक से एक गाड़ी ने रीया को टक्कर मार दी जिसके कारण रीया के 
हाथ पैर टुट गये और रीया बहुत बुरी तरीके से जख्मी हो गई रिया का इलाज चला अच्छे अस्पताल में लेकिन डॉक्टर ने मना कर दिया कि रीया अब चल नही सकती है। 

रीया को जब पता चला कि मैं अब चल नही सकती हु तो रीया को बहुत बड़ा सदमा पंहुचा ओर रिया ने धीरे धीरे खाना पीना छोड़ दिया। रीया दिन प्रतिदिन कमजोर होती जा रही थी। रिया के कमजोर पड़ने के बाद उनके परिवार में फिर से दुःख का पाहाड टूटने लगा।रिया ओर बी कमजोर पड़ने लगी मन ही मन तड़प ने लगी। रिया कि हालत देखकर उनके पिता भावूक हो गये और मन में ठान ली चाह कुछ भी हो जाए लेकिन में रात दिन मेंहनत करूंगा। और अपने परिवार को मजबूत करूंगा और उनको आगे तक लेके जाऊंगा रिया के पिता ने बहुत कड़ी मेहनत कि भुख प्यास की परवाह तक भी नहीं की धीरे धीरे करके पैसे जोड़ने लगे और घर की परेशानीया कम होने लगी।


 रिया को यह दैखकर कुछ अच्छा फील हुआ और रिया के पिता ने अपने काम में कुछ बदलाव किया। रिया के पिता के काम में लोगों को कुछ नया लगने लगा काम थोडा ज्यादा आने लगा। और रीया के पिता पर काम का प्रेशर बढ़ने लगा अब रीया कै पिता को काम वालें आदमी की जरूरत पड़ने लगी। पहले रिया के पिता अकेले काम करते थे। उसके बाद दो से पांच हुए अब रिया के पिता के पास दस लोगों का स्टाप काम करने लगा।


 अब रिया के पिता काम में अस्त व्यस्त होने लग गए और घर में थोड़ी बहुत खाने पीन कीे चीज आने लगी। पहले तो रिया के घर में कभी कभी तो खाना तक भी नहीं बनता था। लेकिन अब घर में थोड़ी बहुत चमक आने लगी कूछ महीने बीतने के बाद रीया के पिता का स्टाप दस से बीस लौगो का हो गया। यह सब कुछ देखकर रिया की मां जौ मौत से जूझ रही थी।अब उनकी बीमारी में सूधार आने लगा रिया के कौइ भाई बी नहीं था। बस रीया का जो सहारा था। उनके माता पिता थे।रीया बहुत परेशान रहती थी। की मेरी शादी के बाद मेरे माता पिता का कौन ख्याल करेगा।लेकिन रीया को पता नहीं था।कि उसका एक्सीडेंट हो जाएगा।और हाथ पैर टुट जाएगे और चलने कै काबिल नहीं रहग। लेकिन रीया अपने पिता को काम में अस्त व्यस्त देखकर रीया समझ गई अब हमारे घर पर मालिक ईश्वर की मदद होने लग गई है।

रिया की तबीयत में बी धीरे धीरे सुधार आने लग गय। और रिया के पिता का काम ओर बी अच्छा चलने लगा।कुछ सालो बाद रिया के पिता के पास बहुत बड़ा काम आया। उस काम को करने के लिए ज्यादा लोगों की ज़रूरत थी। उस काम में रिया के पिता कौ अच्छा खासा बेनीफीट होने वाला था।और रीया के पिता ने वो काम ले लिया था। और काम शुरू कर दिया कुछ महीने के बाद काम पूरा हो गया अच्छा खासा बेनीफीट मीला जब रिया को पता चला तो बहुत खुश हूई और ईश्वर का शुक्रिया किया।

 अब रीया के पिता अपने टुटे फुटे घर की तरह देखा तो दीवारों में से ईट दिखाई दे रही थी।ईट बी बुरी तरीके से गल चुकी थी। और घर का मेंन गेट जो लकड़ी का था। वो फटा हुआ था। कमरे के गेट में भी छेद हो गए थे बरसात में छत से पानी टपकता था । 

रिया के पिता ने इन सब की मरम्मत करवाई इसके बाद रीया का घर अच्छा लगने लगा। कुछ दिन बाद रिया के पिता रिया को एक अच्छे डॉक्टर से चैक करवाने के लिए चले गये। रिया को डॉक्टर के पास लेकर गये उनके पिता ने डॉक्टर से कहा मैंरी रिया का अच्छे से इलाज किजिए ताकि वौ चल सके । डॉक्टर ने कहा मैं पूरी कोशिश करुंगा। आपकी रिया चल सके डॉक्टर ने जांच लिखी। रिया की जांच करवाने के बाद डॉक्टर ने कुछ दवाईयां लिखी रिया के पिता ने मेडिकल पर दवा लेकर घर की और चल पड़े रिया की मां इंतजार कर रही थी। कि मेरी बेटी के बारे में डॉक्टर ने क्या कहा होगा।


कुछ देर बाद रीया और उसके पिता‌ घर आ गये। रिया कि मां ने रिया से पूछा कि बेटी डॉक्टर ने क्या कहा है। तो रिया के पिता बोले डॉक्टर ने कहा है दस दिन बाद आना रिया का आपरेशन करेंगे ताकि वो चल सके रिया की मां खुश हुई मेरी बेटी चलने लग जाएगी। मां तो मां होती वो यहीं चाहती है। कि मेरी रिया चल सके फिर रिया के पिता अपने काम में अस्त व्यस्त हो गए । काम अच्छा चल रहा था स्टाप दिन प्रतिदिन बढ़ता जा रहा था। कुछ दिन बाद रिया को अस्पताल लेकर गए डॉक्टर ने रिया के पैर को चैक कीया और रीया को आपरेशन थियेटर में लेके चले गए। डॉक्टर ने काफी टाइम ले लिया ।

 आपरेशन कम से कम 6 से 8 घंटे तक चला डाक्टर जब आपरेशन थियेटर से बाहर निकल कर आया तो डॉक्टर के चहरे पर काफी परेशानी दिख रही थी। डॉक्टर ने थौडी देर आराम किया चाय पानी पीया डाक्टर रिया को लेकर काफी परेशान दिख रहे थे । डॉक्टर ने अपने से सिनीयर डॉक्टर से मोबाइल पर रीया को लेकर बात कर रहे थे । यह बात सूनकर रिया के पिता घबरा गये । जब डॉक्टर बात करके आपरेशन थियेटर की तरफ़ चल पढे तो रिया के पिता ने कहा डॉक्टर साहब मेरी बेटी रिया सही हो जाएगी क्या डॉक्टर ने रिया के पिता को तसल्ली दी आप घबराइए मत सब सही हो जाएगा। डॉक्टर आपरेशन थियेटर में चले गए और रीया फिर से इलाज शुरू किया ।


 डाक्टर ने काफी कोशिश की उसके बाद बी नाकाम रहेे डॉक्टर आपरेशन थियेटर से बाहर आकर रिया के पिता से कहा रिया का इलाज सही तरीके से नहीं हो पा रहा है काफी समस्या आ रही हैं रिया के पिता ने डॉक्टर से अब हम क्या करें डॉक्टर साहब डॉक्टर ने कहा मैं आपको एक अस्पताल का पता बताता हु वाह आप चले जाना वाह पर आपकी रिया सही हो जाएगी। रिया कुछ देर बाद होश में आई और वह घर की तरफ़ चल पड़े घर पहुंचे तो रिया कि मां उनसे पूछी क्या हुआ डॉक्टर ने रिया का आपरेशन सही कर दिया क्या रिया के पिता ने कहा डॉक्टर ने बोला है इसका इलाज दुसरे अस्पताल में कराना होगा डॉक्टर ने अस्पताल का पता दिया है डॉक्टर ने कहा रिया का आपरेशन एक दो दिन में कराना होगा। रिया के पिता काफी परेशान थे।


अपने काम काज को लेकर लेकिन रीया का आपरेशन भी कराना जरूरी था। अगले दिन सुबह जल्दी उठकर रिया का आपरेशन करवाने के निकल पड़े चार से पांच घंटे में शहर पहुंच गये ऑटो रिक्शा में बैठ कर अस्पताल कै एड्रेस पर पहुंच गए।और डॉक्टर से मिलें और रिया कि जांच दिखाई कुछ देर तक डॉक्टर ने रिया के पिता से बात की रीया और उसकी मां बहार एक मैज पर बैठी थी।रिया के पिता डॉक्टर से बात करके बाहर आये तो रिया कि मां ने कहा डॉक्टर ने क्या कहा है रिया के पिताजी बोले डॉक्टर ने कहा मैं इसका इलाज कर दुंगा।



 आपकी बेटी कुछ दिन में चलने लग जाएगी। डॉक्टर ने कहा इसका आपरेशन कल करेंगे क्योंकि पहले से मेंरे पास पांच आपरेशन है आपको रूकना होगा रीया और उसके माता पिता ने सुबह से कुछ भी नहीं खाया। रिया के पिता होटल से खाना लेने के लिए चल पड़े। जब सुबह हुई तो डॉक्टर के इंतजार में बैठे थे।लेकिन डॉक्टर का टाइम आने का दस बजे का था। रीया के पिता चाय के लेने के लिए बाहर चले गए तीनों ने चाय पी कुछ देर बाद डॉक्टर आ गये डॉक्टर ने सबसे पहले रिया की जांच करवाई उसके बाद रिया को आपरेशन थियेटर में लै जाया गया। रीया के माता पिता बाहर बैठे कर ईश्वर से प्रार्थना कर रहे थे । कि मेरी का आपरेशन सक्सेज हो जाये। कुछ समय बाद डॉक्टर आपरेशन थियेटर से बाहर आए तो चेहरे पर हल्की सी मुस्कान थी। 

डॉक्टर ने रिया के माता पिता से बोले आपकि रिया का आपरेशन सक्सेज हो गया है । अब आप की रिया कूछ महीने में चलने लग जाएगी। डॉक्टर ने दवाईयां लिख कर दी दवा लेकर घर आ गए। कुछ दिन बाद रिया थोड़ी थोड़ी चलने लगी। रिया के माता पिता समझ गये की रिया का आपरेशन सही किया है।रिया के माता पिता खुश हो गए रिया को चलते हुए देखकर लेकिन रीया के पिता के पास इतना काम आने लग गया कि वो महिने के लाखों रूपये कमाने लग गये। कुछ महीने बाद रिया बिल्कुल सही हो गई । और चलने लग गई ।रिया को अब चलने में कोई भी परेशानीया नही आ रहीं थी।


रिया कि उम्र लगभग चोबीस से पच्चीस साल हो गई तो रीया के माता पिता ने सोचा अब रिया की शादी कर दी जाए। अब रिया बड़ी हो चुकी है । रिया की मां ने कहा बात आपकी सही है रिया की शादी अब करनी चाहिए। यह बात सुनकर रिया उदास हो गई । रिया का चेहरा देखकर उनके माता पिता ने कहा तो शादी के नाम पर उदास क्यों हो गई रीया ने कहा मैं उदास इसलिए हो गई हु मेरे जाने के बाद कौन आपका ख्याल रखेगा। 

और आपका घर बी सुना सूना हो जाएगा। मेरी शादी कै बाद मां मन केसे लगेगा आप तो काम पर रहते हो। इतना सुनने के बाद रिया के माता पिता के आंखों से आंसू निकल पड़े थोड़ी देर बाद रिया को समझाया कौन हे ऐसा बाप जो अपनी बेटी को अपने आप से दूर कर दे लेकिन बेटा समाज और बीरादरी ताना मारती है। हम समाज की बाते सुन सुन कर मर जाएंगे ।

 इतना कहने कै बाद रिया ने हा कर दी शादी कै लिए रिया के माता पिता खुश हो गए । रिया का अब रिश्ता भी जल्दी और अच्छा मिल गया। लड़का प्राईवेट स्कूल में अध्यापक थे। रीया के माता पिता शादी की तैयारियां में शुरू हु गए। घर पर पेंट करवाया कपड़े की तैयारीया हो रही थी। रिश्तेदारो को कहा जा रहा था। रिया की शादी में शामिल होना है। कुछ दिन बाद की शादी हो गई और वो अपने ससुराल चली गई रीया का पति एकदम सुन्दर और ईमानदार से लग रहे था। 


यह देखकर रीया का मन अपने पति के तरफ़ आकर्षित हो गया। और रीया का मन अब ससूराल में लगने लग गया है। कुछ दिन बाद रिया की मां की मौत हो गई रीया को जब यह बात पता चली तो रिया कै आंखों में आंसू आ गये। और रोने लग गई रिया के पति ने रिया को घले लगाकर समझाया और रिया को तसल्ली दी । रीया अपने घर आ गई। घर का माहौल देखकर रीया एकदम तड़प सी गई लेकिन रीया ने जब अपने पिता की तरफ़ देखी तो थौडी तड़प कम हूई अपने पिता को देखकर आंखों में आंसू आ आने लग गए। और सोच रही थी पापा अब अकैले हो गये अब पापा का ख्याल कौन रखेगा क्योंकि रिया के कोई भाई नहीं था ।


 रिया ने लास्ट में यह फैसला लेना पड़ा कि पापा को अब साथ में रखुगी। रिया ने अपने पिता को साथ रखने कि बात अपने पति से की तो वो मान गये।रिया य बात सुनकर अपने पति को और दिल दे बैठी और अपने पति से खुब प्यार करने लगी। अब रिया और उसके पिता एक साथ रहने लग गए। कुछ दिन बाद सब कुछ सेटल हो गया। रिया के पिता और रिया के पति के घर वाले एक साथ ख़ुशी ख़ुशी की जिंदगी जी रहे है। दोस्तों इस बात से आपको क्या सिख मिली? क्या क्या आपको अच्छा लगा कोमेंट में बताइए।

न्यू डिस्क्रिप्शन

यह कहानी दो परिवारों के बाप दादाओं की है। एक परिवार दूसरे की दूसरे परिवार की जमीन हड़प लेता है। पूरे गांव में जलील करता है। कुछ समय बाद अंजल...